Sab Mein Shamil Ho Magar

Ravi, Sahir Ludhianvi

सब मे शामिल हो मगर सबसे जुदा लगती हो
सब मे शामिल हो मगर सबसे जुदा लगती हो
सिर्फ़ हमसे नही खुद से भी खफा लगती हो
सब मे शामिल हो मगर

आँख उठती है ना झुकती है किसी की खातिर
आँख उठती है ना झुकती है किसी की खातिर
सांस चढ़ती है ना रुकती है किसी की खातिर
जो किसी दर पे ना ठेहरे वो हवा लगती हो
सिर्फ़ हमसे नही खुद से भी खफा लगती हो
सब मे शामिल हो मगर

जुल्फ लहराएं तो आँचल मे छुपा लेती हो
जुल्फ लहराएं तो आँचल मे छुपा लेती हो
होंठ थर्राए तो दाँतों मे दबा लेती हो
जो कभी खुल के ना बरसे वो घटा लगती हो
सिर्फ़ हमसे नही खुद से भी खफा लगती हो
सब मे शामिल हो मगर

जागी जागी नज़र आती हो ना सोई सोई
जागी जागी नज़र आती हो ना सोई सोई
तुम जो हो अपने ख़यालात मे खोई खोई
किसी मायूस मुसाव्वुर की दुवा लगती हो
सिर्फ़ हमसे नही खुद से भी खफा लगती हो
सब मे शामिल हो मगर

Curiosità sulla canzone Sab Mein Shamil Ho Magar di Mohammed Rafi

Chi ha composto la canzone “Sab Mein Shamil Ho Magar” di di Mohammed Rafi?
La canzone “Sab Mein Shamil Ho Magar” di di Mohammed Rafi è stata composta da Ravi, Sahir Ludhianvi.

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