Khel Nahin Gir Gir Ke Sambhalna
Majrooh Sultanpuri
खेल नही खेल नही
खेल नही गिर गिर के संभालना
रही देख संभाल कर चलना
खेल नही खेल नही
इस दुनिया की रह अनोखी
इस दुनिया की रह अनोखी
मंज़िल भी गुल हो जाती है
इस दुनिया की रह अनोखी
इस दुनिया की रह अनोखी
मंज़िल भी गुल हो जाती है
कलियो के दामन में च्चिपा कर
उनको सबनम रो जाती है
खेल नही खेल नही
खेल नही गिर गिर के संभालना
खेल नही खेल नही
प्यार की रह में क्या है जीना
कुछ बीती रहो का सहारा
कुछ बीती रहो का सहारा
प्यार की रह में क्या है जीना
कुछ बीती रहो का सहारा
कुछ बीती रहो का सहारा
रत उजली चाँद के दम से
रत उजली चाँद के दम से
चाँद छुपा गुप अंधियारा
चाँद छुपा गुप अंधियारा
लूट जाए लूट जाए
लूट जाए तो हाथ ना मलना
रही देख संभाल कर चलना
खेल नही खेल नही