Ab to Is Tarah Meri
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
जिस तरह आईने
जिस तरह आईने
चेहरों को तरस जाते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
जिस तरह आईने
जिस तरह आईने
चेहरों को तरस जाते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
खाब आते हैं
खाब आते हैं
एहतियात अहल-ए-मोहब्बत
के इसी शहर के लोग
एहतियात अहल-ए-मोहब्बत
के इसी शहर के लोग
एहतियात अहल-ए-मोहब्बत
के इसी शहर के लोग
गुल-बा-दस्त आते हैं
और कवाबा-रसन जाते हैं
गुल-बा-दस्त आते हैं
और कवाबा-रसन जाते हैं
जिस तरह आईने
जिस तरह आईने
चेहरों को तरस जाते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
खाब आते हैं
खाब आते हैं
जैसे ताज़बीज़-ए-ताल्लुक़ की
भी रुत हो कोई
जैसे ताज़बीज़-ए-ताल्लुक़ की
भी रुत हो कोई
जैसे ताज़बीज़-ए-ताल्लुक़ की
भी रुत हो कोई
ज़ख़्म भरते हैं तो
अहबाब भी आजाते हैं
ज़ख़्म भरते हैं तो
अहबाब भी आजाते हैं
जिस तरह आईने
जिस तरह आईने
चेहरों को तरस जाते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
खाब आते हैं
खाब आते हैं
हर कड़ी रात के बाद ऐसी
क़यामत गुज़री
हर कड़ी रात के बाद ऐसी
क़यामत गुज़री
हर कड़ी रात के बाद ऐसी
क़यामत गुज़री
सुबहो का ज़िक्र भी आए तो
लराज़ जाते हैं
सुबहो का ज़िक्र भी आए तो
लराज़ जाते हैं
जिस तरह आईने
जिस तरह आईने
चेहरों को तरस जाते हैं
अब तो इस तरह मेरी आँखों में
खाब आते हैं
खाब आते हैं
खाब आते हैं खाब आते हैं खाब आते हैं